पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने सोमवार को स्वीकार किया कि अल्पसंख्यकों को धर्म के नाम पर लक्षित हिंसा का सामना करना पड़ रहा है।
उन्होंने कहा कि इसके कारण पाकिस्तान को दुनियाभर में शर्मिंदगी का सामना करना पड़ रहा है।
पाकिस्तान की राष्ट्रीय असेंबली के सत्र के दौरान आसिफ ने चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि हर दिन अल्पसंख्यकों की हत्या हो रही है।
वे इस्लाम की आड़ में सुरक्षित नहीं हैं। मैं अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के मुद्दे पर बात करना चाहता हूं, लेकिन विपक्ष मेरे प्रयासों को रोक रहा है।
धार्मिक अल्पसंख्यक सुरक्षित नहीं
आसिफ ने जोर देकर कहा कि संवैधानिक सुरक्षा के बावजूद पाकिस्तान में इस्लाम के अंतर्गत आने वाले छोटे संप्रदायों सहित कोई भी धार्मिक अल्पसंख्यक सुरक्षित नहीं है।
उन्होंने अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के लिए एक प्रस्ताव का आह्वान किया, जिसमें इस बात पर प्रकाश डाला गया कि हिंसा के कई पीड़ितों का ईशनिंदा के आरोपों से कोई संबंध नहीं था, लेकिन उन्हें व्यक्तिगत प्रतिशोध के कारण निशाना बनाया गया।
स्थिति को शर्मनाक बताया
पाकिस्तानी रक्षा मंत्री ने कहा कि देश में छोटे संप्रदाय भी सुरक्षित नहीं हैं, जो एक शर्मनाक स्थिति है। हम अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के लिए एक प्रस्ताव पेश करने का इरादा रखते हैं।
हमारा संविधान अल्पसंख्यक अधिकारों की गारंटी देता है, जबकि विभिन्न स्थानों पर हिंसा की घटनाएं हो रही हैं।
बता दें कि ह्यूमन राइट्स कमीशन ऑफ पाकिस्तान (एचआरसीपी) और ह्यूमन राइट्स वॉच की रिपोर्ट के अनुसार, पाकिस्तान में हिंदू, सिख और अन्य अल्पसंख्यकों को जबरन धर्म परिवर्तन, अपहरण, हत्या और उनके पूजा स्थलों पर हमलों जैसी चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है।
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