अरब सागर एवं बंगाल की खाड़ी में एक बार फिर मानसूनी हलचल शुरू होने के संकेत मिले है, जिसके चलते 2 दिन बाद मानसून के आगे बढ़ने की संभावना है। मौसम वैज्ञानिकों के मुताबिक, 24 जून तक मध्य प्रदेश में भी मानसून के आने की उम्मीद है। उधर, वर्तमान में अलग-अलग स्थानों पर बनी मौसम प्रणालियों के असर से हवाओं के साथ नमी आ रही है, जिसके चलते प्रदेश के अधिकतर जिलों में गरज-चमक के साथ वर्षा हो रही है। शुक्रवार सुबह राजधानी भोपाल के साथ ही इंदौर, उज्जैन, रतलाम, शाजापुर, रायसेन आदि शहरों में बारिश हुई है। कल रात भी कई स्थानों पर मौसम का मिजाज बदला और बारिश हुई।
मप्र के इन जिलों में हल्की बारिश
इसी क्रम में पिछले 24 घंटों के दौरान गुरुवार सुबह साढ़े आठ बजे तक बालाघाट में 78.3, शहडोल में 46, दतिया में 35, अनूपपुर में 26.4, निवाड़ी में 25, डिंडौरी में 24, सिवनी में 20, धार में 19, भिंड में 18, गुना में 14, विदिशा में 10.2, रायसेन में 10, राजगढ़ में आठ, खंडवा में सात, बड़वानी में पांच, इंदौर जिले में चार मिलीमीटर वर्षा हुई।
गरज चमक के साथ हो सकती है बौछार
मौसम विभाग के मुताबिक, गुरुवार-शुक्रवार को भी गरज-चमक के साथ बौछारें पड़ने की संभावना है। विशेषकर भोपाल, नर्मदापुरम, जबलपुर, शहडोल, सागर संभाग के जिलों में तेज बौछारें पड़ सकती हैं। मौसम विज्ञान केंद्र से मिली जानकारी के मुताबिक वर्तमान में एक पश्चिमी विक्षोभ पाकिस्तान पर बना हुआ है। पंजाब पर एक प्रेरित चक्रवात बना हुआ है। इसके अतिरिक्त उत्तरी गुजरात पर भी हवा के ऊपरी भाग में एक चक्रवात बना हुआ है। मौसम विज्ञान केंद्र के पूर्व वरिष्ठ मौसम विज्ञानी अजय शुक्ला ने बताया कि इन तीन मौसम प्रणालियों के सक्रिय रहने के साथ ही हवाओं का रुख भी दक्षिणी बना हुआ है। हवाओं के साथ लगातार नमी आ रही है। इस वजह से पूरे प्रदेश में मानसून पूर्व की गतिविधियों में तेजी आ गई है। गरज-चमक के साथ अधिकतर शहरों में रुक-रुककर बौछारें पड़ रही हैं। गुरुवार-शुक्रवार को भोपाल, नर्मदापुरम, जबलपुर, शहडोल, सागर संभाग के जिलों में तेज बौछारें पड़ने की संभावना है। इस दौरान तेज रफ्तार से हवाएं भी चल सकती हैं।