नए जिलाध्यक्षों की हो रही ऑनलाइन मॉनीटरिंग
भोपाल । देश में भाजपा एक मात्र राजनीतिक पार्टी है जो हमेशा मिशन मोड में रहती है। पार्टी अपने कार्यकर्ताओं को लगातार काम पर लगाए रहती है। अपने पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं की ऑनलाइन मॉनीटरिंग के लिए पार्टी ने संगठन एप बनाया है। इस एप के रडार पर सभी भाजपाई रहते हैं। वर्तमान में नए जिलाध्यक्षों की कार्यप्रणाली की ऑनलाइन मॉनीटरिंग हो रही है।पार्टी नेताओं का दावा है कि एप को अब संगठन के कामकाज के लिए अपडेट किया गया है। इसमें नए सिरे से सभी बूथ, मंडल और जिलाध्यक्षों का ब्योरा दर्ज किया जा रहा है, इसके बाद सभी की ऑनलाइन मानीटरिंग आरंभ की जाएगी। गौरतलब है कि मप्र भाजपा ने एक ऐसा एप तैयार किया है, जिसमें संगठन से संबंधित डिजिटल डाटा मोबाइल पर देखा जा सकताा। संगठन एप का उपयोग पार्टी विधानसभा चुनाव, 2023 की तैयारी के लिए किया था। पार्टी के अनुसार देश में पहली बार इस तरह का एप तैयार किया गया है। इसके जरिये पार्टी प्रदेश के 65 हजार बूथों के बूथ प्रभारी, पन्ना प्रभारी और चुनींदा मतदाताओं का सारा ब्योरा रखा गया है। एप में बूथ स्तर के पदाधिकारियों को भी अपनी गतिविधियों की रिपोर्ट अपलोड करनी होती है। एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने कहा कि बूथ कमेटियों में शामिल लोगों की पहचान सुनिश्चित करने के लिए उन्हें काल किया जाता है। यदि बूथ कमेटी का कोई सदस्य सवालों का सही जवाब नहीं दे पाता है, तो साफ हो जाता है कि उसे सिर्फ नाम के लिए सदस्य दिखा दिया गया है, जिसे समय रहते सही कार्यकर्ता को शामिल कर दुरुस्त किया जा सकता है।
जिला अध्यक्षों पर नजर
जानकारी के अनुसार मप्र में भाजपा के नए जिला अध्यक्षों पर संगठन एप के जरिये नजर रखी जाएगी। उनके कामकाज और पार्टी द्वारा सौंपे गए कार्यक्रमों की ऑनलाइन निगरानी कर हर जिलाध्यक्ष का रिपोर्ट कार्ड तैयार किया जाएगा। पार्टी ने इंदौर नगर और ग्रामीण को छोडक़र बाकी सारे जिलों में अध्यक्षों की घोषणा कर दी है। बूथ समितियों के गठन और उसके डिजिटलाइजेशन में देशभर में मप्र की सराहना हुई है। भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने प्रदेश की उपलब्धि के लिए प्रशंसा की है। गौरतलब है कि भाजपा ने जमीनी स्तर पर संगठन को दुरुस्त करने की कवायद में लगी है। भाजपा संगठन द्वारा जारी कार्यक्रमों और बैठकों और नेताओं, पदाधिकारियों के दौरों की निगरानी एप के जरिए की जाती है। प्रदेश अध्यक्ष से लेकर प्रदेश और जिला पदाधिकारियों यहां तक कि बूथ स्तर के कार्यकर्ताओं को अपने प्रवास और बैठकों की जानकारी रियल टाइम एप पर रिपोर्ट करनी होती है। एप में जियो टैगिंग भी होती है जिससे बैठकों और प्रवास की फोटो लोकेशन से ही फीड़ करनी होती है। इससे संगठन के कामकाज की घर बैठे खानापूर्ति नहीं की जा सकेगी। एप के जरिए प्रदेश स्तर से लेकर बूथ लेवल तक के पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं को बैठकों और प्रवास की जानकारी दी जाती है। इसके बाद नियमित रूप से इसकी निगरानी की जा रही है। पदाधिकारी यदि गलत जानकारी प्रदेश कार्यालय को भेजते हैं तो संगठन एप की रिपोर्ट से वह क्रॉसचेक हो जाएगी।
एक क्लिक पर दिखेगी जिलाध्यक्षों की कुंडली
मप्र के संगठन एप से अब एक क्लिक पर भाजपा जिलाध्यक्षों की पूरी जानकारी व गतिविधियां भी देखी जा सकेंगी। इससे उनके पार्टी को लेकर किए जा रहे काम का भी आनलाइन मूल्यांकन किया जा सकेगा। भाजपा की संगठनात्मक रचना में 62 जिले हैं। भाजपा एप से पार्टी कार्यकर्ताओं का जातिवार डाटा भी तैयार कर रही है। इन कार्यकर्ताओं की मदद से पार्टी अब प्रत्येक वर्ग व समुदाय तक संपर्क बढ़ाएगी और सरकारी की योजनाओं का लाभ दिलाने के प्रयास किए जाएंगे। दरअसल, विधानसभा चुनाव 2023 से पहले मप्र भाजपा ने एक ऐसा एप तैयार किया है, जिसमें मोबाइल पर संगठन से जुड़ा डिजिटल डाटा देखा जा सकता है। इस संगठन एप के जरिये पार्टी प्रदेश के 65 हजार से अधिक बूथों के बूथ प्रभारी, पन्ना प्रभारी और चयनित मतदाताओं की पूरी जानकारी दर्ज है। इस एप पर चुनाव की तैयारी के दिशा-निर्देश भी समय-समय पर पार्टी ने भेजे। चयनित मतदाताओं के विवरण सहित बूथ प्रभारी का नाम, मोबाइल नंबर, फोटो, पता भी एप पर दर्ज किया गया है। विस्र-लोस चुनाव के समय बूथ पर क्या चुनौतियां हैं, पिछले चुनाव में कितने वोट मिले और कौन से मतदाता भाज्या के करीबी नहीं हैं, यह भी संक्षिप्त जानकारी जुटाई गई थी।
नई धार दे रहा एप
सांगठनिक गतिविधियों की रिपोर्टिंग और उनके विश्लेषण के लिए विशेष रूप से तैयार किया गया एप भाजपा की रणनीति को नई धार दे रहा है। इस एप के सहारे बूथ स्तर के ढांचे को मजबूत करने के साथ ही उसकी गतिविधियों पर नजर भी रखी जा रही है। इस पर पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष से लेकर बूथ स्तर तक भाजपा के तीन करोड़ से अधिक पदाधिकारियों का डाटा उपलब्ध है। भाजपा में एप का कामकाज देख रहे पदाधिकारियों के मुताबिक, इस एप के सहारे बूथ स्तर के कार्यकर्ताओं से रियल टाइम संवाद बनाने में सफलता मिली है। इसके साथ ही एप पर बूथ से लेकर जिला स्तर तक की सभी गतिविधियों की रिपोर्टिंग होती है, जिससे कार्यकर्ताओं की सक्रियता का पता चलता है। दरअसल, भाजपा हमेशा से मेरा बूथ, सबसे मजबूत होने का नारा देती रही है। इसके लिए राष्ट्रीय पदाधिकारी चुनाव से पहले बूथ स्तर के पदाधिकारियों को संबोधित भी करते रहे हैं। लेकिन बूथ स्तर पर कार्यकर्ताओं की गतिविधियों की निगरानी का कोई पुख्ता तंत्र नहीं था। इसके लिए केंद्रीय नेतृत्व को ब्लाक और जिला स्तर के पदाधिकारियों की रिपोर्टिंग पर निर्भर करना पड़ता था।